उप्र : योगी सरकार की जीरो टॉलरेंस नीति के तहत उप्र में अपराध में आयी कमी

प्रदेश में कानून व्यवस्था को लेकर विपक्ष भले ही राज्य सरकार पर निशाना साधता हो। लेकिन आकड़ों के मुताबिक योगी सरकार की अपराध..

उप्र : योगी सरकार की जीरो टॉलरेंस नीति के तहत उप्र में अपराध में आयी कमी
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Chief Minister Yogi Adityanath)

प्रदेश में कानून व्यवस्था को लेकर विपक्ष भले ही राज्य सरकार पर निशाना साधता हो। लेकिन आकड़ों के मुताबिक योगी सरकार की अपराध और भ्रष्टाचार के विरुद्ध जीरो टॉलरेंस नीति की बदौलत प्रदेश में अपराध न्यूनतम स्तर पर है। योगी सरकार के कार्यकाल में अपराधों में गिरावट का सिलसिला लगातार जारी है। उत्तर प्रदेश अपराधियों के खिलाफ एक्शन लेने में देश में अव्वल स्थान पर है।

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महिला संबंधी अपराधों की रोकथाम और अपराधियों पर कार्रवाई को लेकर राज्य सरकार बेहद गंभीर है। इसी के चलते उप्र देश के अन्य राज्यों तथा केन्द्र शासित प्रदेशों के सापेक्ष अग्रणी स्थान पर है। एनसीआरबी के वर्ष 2020 के अध्याविधिक आंकड़ों के मुताबिक, महिला सम्बन्धी अपराधों में दोष सिद्ध 8,386 पर कार्रवाई के साथ उत्तर प्रदेश देश में प्रथम स्थान पर है। साइबर अपराधों में 642 दोष सिद्ध के साथ प्रथम स्थान पर है।

इसी प्रकार शीलभंग में नौ प्रतिशत क्राइम रेट के साथ 16वां तथा पॉक्सो अधिनियम के मामलों में 8.1 प्रतिशत क्राइम रेट के साथ 24वां स्थान था। महिला सम्बन्धी अपराध में राज्य का स्थान 16वां था। इससे स्पष्ट होता है कि देश के अन्य राज्यों तथा केन्द्र शासित प्रदेशों की तुलना में उत्तर प्रदेश में अपराध नियंत्रित स्थिति में है।

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  • डकैती के मामलों में उप्र का 25वां स्थान

क्राइम इन इण्डिया-2020 के अनुसार भारत में इस साल कुल 42,54,356 आईपीसी के तहत अपराध दर्ज किए गए, जिनमें से 3,55,110 आईपीसी के अपराध उत्तर प्रदेश में घटित हुए। यह भारत वर्ष का क्राइम रेट 314.3 के सापेक्ष प्रदेश का क्राइम रेट 155.1 है। देश में घटित भारत दंड विधान के कुल अपराधों में उप्र का अन्य राज्यों व केन्द्र शासित राज्यों के सापेक्ष 24वां स्थान है। जबकि जनसंख्या के आधार पर उप्र की आबादी 16.89 प्रतिशत है।

एनसीआरबी के अध्याविधिक आंकड़ों के अनुसार, वर्ष 2020 में देश के कुल 37 राज्यों तथा केन्द्र शासित प्रदेशों में घटित विभिन्न अपराधों के तहत डकैती के मामलों में 0.1 प्रतिशत क्राइम रेट के साथ उत्तर प्रदेश का 25वां स्थान, लूट में 07. प्रतिशत क्राइम रेट के साथ 23वां स्थान है।

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  • 4.54 लाख गिरफ्तारियों के साथ उप्र द्वितीय स्थान पर

साथ ही भारतीय दण्ड विधान के अपराधों में गिरफ्तार अभियुक्तों में से 1,30,454 की दोष सिद्धि के साथ द्वितीय स्थान पर, अधिनियम के अपराधों में गिरफ्तार अभियुक्तों का दोष सिद्ध की संख्या 7,84,784 के साथ तृतीय स्थान पर, 94.1 करोड़ की सम्पत्ति की बरामदगी में चौथवां स्थान, 37,616 शस्त्रों की बरामदगी में प्रथम स्थान है।

इसके अलावा भारतीय दंड विधान में 4,54,485 गिरफ्तारी संग द्वितीय स्थान पर तथा जाली मुद्रा जब्तीकरण में 55 अपराध पंजीयन के साथ तृतीय स्थान पर है।

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हि.स

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